
छत्तीसगढ़ में किसानों की जमीन छीने जाने का आरोप, कांग्रेस का सरकार पर हमला
छत्तीसगढ़ कांग्रेस ने भाजपा सरकार पर किसानों और आदिवासियों की जमीनें पूंजीपतियों के लिए छीने जाने का आरोप लगाया है। हसदेव से मैनपाट तक जल-जंगल-जमीन को लेकर आंदोलन तेज।
पूरे प्रदेश में जमीनें छीनने का षड़यंत्र चल रहा: धनंजय सिंह ठाकुर
रायपुर, 09 नवम्बर 2025। छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने भाजपा सरकार पर किसानों, आदिवासियों और गरीबों की जमीनें पूंजीपतियों के लिए छीनने का गंभीर आरोप लगाया है। प्रदेश कांग्रेस के वरिष्ठ प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि पूरे प्रदेश में किसानों और आदिवासियों की ज़मीनों को हड़पने का षड़यंत्र चल रहा है।
उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार बनने के बाद प्रदेश के किसानों और आदिवासियों के जल, जंगल और जमीन तथा उनके पुश्तैनी घरों पर संकट मंडरा रहा है। बीते दो वर्षों में हसदेव, तमनार, अमोरा, बैलाडीला, कांकेर, बीजापुर, खैरागढ़ और मैनपाट जैसे क्षेत्रों के किसान, आदिवासी, महिलाएं और गरीब अपनी जमीन और घर बचाने के लिए संघर्षरत हैं।
धनंजय सिंह ठाकुर ने आरोप लगाया कि लोग सड़कों पर उतरकर शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे हैं, लेकिन सरकार उनकी आवाज सुनने के बजाय पुलिस के माध्यम से प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज करवाकर उन्हें डराने और उनके खिलाफ आपराधिक प्रकरण दर्ज करा रही है।
उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार के पूंजीपति मित्रों की नजर राज्य की खनिज संपदा पर है। प्रदेश के गर्भ में छिपे आयरन ओर, बॉक्साइट, कोयला, चूना पत्थर और अन्य बहुमूल्य खनिजों को उद्योगपतियों को सौंपने की तैयारी की जा रही है। सरकार अपने मित्रों के हित में सरकारी ताकत का दुरुपयोग कर रही है और जनता की आवाज अनसुनी कर रही है।
प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता ने आरोप लगाया कि सरकार पांचवीं अनुसूची के तहत आदिवासी क्षेत्रों को मिले अधिकारों का पालन नहीं करवा रही है और केवल बंजर एवं सरकारी भूमि पर उद्योग लगाने की नीति का खुला उल्लंघन हो रहा है। उन्होंने चेतावनी दी कि भाजपा सरकार की नीतियों से आने वाले समय में छत्तीसगढ़ का हराभरा इलाका वीरान होने की आशंका है, जिससे पर्यावरण को भारी नुकसान होगा और लोग बेघर हो जाएंगे।
अंत में कांग्रेस ने सरकार से मांग की कि जल, जंगल और जमीन बचाने के लिए संघर्ष कर रहे लोगों की आवाज को गंभीरता से सुना जाए और उनके संवैधानिक अधिकारों की रक्षा की जाए।









