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कृत्रिम रंगों, गुलाल की जगह गुलाल गोटा बाजार में अपनी जगह बना रहा है
कृत्रिम रंगों, गुलाल की जगह गुलाल गोटा बाजार में अपनी जगह बना रहा है
जयपुर, सस्ते कृत्रिम रंगों और गुलाल की अधिक उपलब्धता तथा बाजार में वजूद होने के बावजूद होली के उत्सव को लेकर देश के विभिन्न हिस्सों से बढ़ती मांग के साथ पारंपरिक ‘गुलाल गोटा’ फिर से बाजार में अपनी जगह बना रहा है।.
प्राकृतिक रंगों से भरे लाख के छोटे गोल आकार के गेंदों को ‘गुलाल गोटा’ के नाम से जाना जाता है। यह पारंपरिक रूप से जयपुर में निर्मित होते हैं। कुछ मुस्लिम परिवार इस काम में पीढ़ियों से जुटे हैं।