छत्तीसगढ़राज्यसूरजपुर

सूरजपुर : साहब : बेमौसम बारिश में भीगा लाखों का धान , इस नुकसान का जिम्मेदार कौन ?

साहब : बेमौसम बारिश में भीगा लाखों का धान, इस नुकसान का जिम्मेदार कौन ?

a41ad136-ab8e-4a7d-bf81-1a6289a5f83f
ea5259c3-fb22-4da0-b043-71ce01a6842e
WhatsApp Image 2025-08-03 at 9.25.33 PM (1)
WhatsApp Image 2025-08-07 at 11.02.41 AM

लापरवाही से भीगे धान से करोड़ों के नुकसान का अनुमान। क्या जिम्मेदारों पर होगी कार्यवाही ?

राकेश जायसवाल ब्यूरो चीफ भैयाथान / शासन के तमाम कोशिशों के बाउजूद भी प्रशासनिक अधिकारियों की लापरवाही रुकने का नाम नही ले रहा है। आलम यह है कि शासन को लाखों, करोड़ों के नुकसानों की भरपाई करनी पड़ रही है। मामला धान खरीदी केंद्रों में रखे लाखों करोंङो के धान का है , जो इन दिनों हुए बेमौसम बारिश से भीग गया। जहां बेमौसम बारिश ने भीषण गर्मी से लोगों को ठंढ जैसी राहत पहुंचाई है। वहीं खरीदी केंद्रों में रखे किसानों के पसीने से कमाये हुए धान को भी बर्बाद कर दिया है। धान की खरीदी बंद हुए तीन महीने बीत चुका है पर विपरण केंद्र द्वारा केचुए की चाल के भांति उठाव करने के कारण अभी भी खरीदी केंद्रों में बिना किसी सुरक्षा के खुले में धान के ऊंचे-ऊंचे स्टेजों का अंबार सा लगा हुआ है, जो मजबूरन बेमौसम बारिश का मार झेल रहा है। हालाकि एक सप्ताह पूर्व ही मौसम विभाग ने बारिश होने की घोषणा कर दी थी।, पर खरीदी केंद्र के प्रबंधकों ने मौसम विभाग के इस चेतावनी को अनदेखा करते हुए खरीदी केंद्र में रखे धान को किसी भी प्रकार की सुरक्षा मुहैया नही कराया। परिणामतः लगातार एक सप्ताह से हो रहे बारिस के कारण लाखों रुपये के धान बर्बाद हो गए। अगर भैयाथान, केवरा, बंजा, शिवप्रसादनगर , ओड़गी, नवगई, व रामपुर, के खरीदी केंद्रों को मिलाकर देखें तो यह आकड़ा करोंङो का भी हो सकता है जिस बर्बादी का हर्जाना अब शासन को चुकाना पड़ सकता है।

31 मार्च तक था अनुबन्ध

समिति के एक शाखा प्रबंधक ने नाम न छापने के एवज में बताया कि इस वर्ष धान के उठाव के लिए जो अनुबंध किया गया था उसका समय 31 मार्च तक ही था, जिस दिनांक तक विपरण केंद्र के द्वारा उठाव कर लेना था पर अनुबंध का समयावधि खत्म हुए एक माह से भी ज्यादा हो गया अभी तक उठाव पूर्ण नही हो पाया है। अगर अनुबंध किये गए समय पर उठाव कर लिया जाता तो समिति में रखे धान बर्बाद नही होते।

mantr
96f7b88c-5c3d-4301-83e9-aa4e159339e2 (1)
WhatsApp Image 2025-08-03 at 9.25.33 PM (1)
WhatsApp Image 2025-08-07 at 11.02.41 AM

कैसे दे पाएंगे जीरो शॉटेज

इस संबंध में कुछ समिति केंद्रों के खरीदी प्रभारियों से बात की गई जिन्होंने बताया कि हमारे द्वारा विभाग के उच्चाधिकारियों से समय पर उठाव कराने के लिए कई बार बोला गया पर उनके द्वारा कोई पहल नही किया गया। साथ ही धान को बारिस से बचाने के लिए त्रिपाल सहित कुछ अन्य सुविधाओं की आवश्यकता पड़ती है जो पर्याप्त मात्रा में समिति के पास नही है। जिसे खरीदने के लिए जिले के विभागीय अधिकारियों से राशि आहरण करने की अनुमति मांगी गई पर बार-बार मिन्नते करने के बाउजूद भी उनके द्वारा चेक बुक में हस्ताक्षर नही किया गया जिसके कारण धान के सुरक्षा से जुड़े सामग्रियों की खरीदी नही की जा सकी, और लाखों रुपये के धान बर्बाद हो गए। जिले के विभागीय अधिकारियों के लापरवाही का परिणाम अब खरीदी प्रभारियों को भुकतना पड़ेगा । खरीदी प्रभारियों को अब इस बात की चिंता सता रही है कि अब वे जीरो शॉटेज कैसे दे पाएंगे।

आवारा पशु बने खरीदी केंद्र के पहरेदार

भैयाथान विकासखण्ड अंतर्गत एक ऐसा भी खरीदी केंद्र है ,जहां धान के देखरेख लिए चौकीदार तक नही हैं अगर होंगे भी तो वे समिति में कम और घर मे रहना ज्यादा पसंद करते हैं। इनके अनुपस्थिति में समिति के पहरेदारी का काम आस-पास विचरण करने वाले आवारा पशु करते हैं । जिन्हें मौके पर जाकर देखा जा सकता है कि किस प्रकार यह मवेशी खरीदी केंद्र के भीतर झुंड पर झुंड बनाये घूम रहे हैं और बोरे में रखे धान को हज़म कर रहे हैं। हालाकि इस समिति के लिए यह कोई नई बात नही है जानकार बताते हैं कि यह समिति अपने विवादित कार्यों से हमेशा से ही सुर्खियों में रहा ।

धान खराब होने की जानकारी अभी नही मिली है। धान को बेमौसम बारिस से बचाने समिति केंद्र के प्रबंधकों को त्रिपाल से ढकने सहित अन्य सुरक्षा मुहैया कराने के लिए निर्देशित किया गया था, जिसके लिए खरीदी प्रारंभ के समय मे ही दो प्रतिशत राशि दे दी गयी थी। इसके बाउजूद भी अगर किसी समिति में धान बर्बाद हुए हैं तो उसके जिम्मेदारों पर कार्यवाही की जाएगी।

उपेंद्र कुमार
डीएमओ सूरजपुर

Ashish Sinha

8d301e24-97a9-47aa-8f58-7fd7a1dfb1c6 (2)
e0c3a8bf-750d-4709-abcd-75615677327f
WhatsApp Image 2025-08-03 at 9.25.33 PM (1)
WhatsApp Image 2025-08-07 at 11.02.41 AM

Related Articles

Back to top button
error: Content is protected !!