
उमंग समर कैंप 2025: चौथे दिन बच्चों में दिव्य संस्कारों की जागरूकता और यातायात सुरक्षा का संदेश
अंबिकापुर में ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय द्वारा आयोजित उमंग समर कैंप के चौथे दिन बच्चों को दिव्य संस्कार, भारतीय संस्कृति और यातायात नियमों की जानकारी दी गई। बच्चों ने एकाग्रता गेम में उत्साहपूर्वक भाग लिया।
अंबिकापुर।प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्व विद्यालय अंबिकापुर में चल रहे 10 दिवसीय उमंग समर कैंप (2 से 11 मई) के चौथे दिन की शुरुआत “उमंग उत्साह दिवस” के रूप में की गई। बच्चों ने यह संकल्प लिया कि वे दिनभर उमंग और उत्साह से भरपूर रहेंगे।
प्रथम सत्र में ब्रह्माकुमारी अन्नू बहन ने “संस्कार एवं संस्कृति” विषय पर प्रभावशाली विचार साझा करते हुए कहा कि संस्कार और संस्कृति एक-दूसरे के पूरक हैं। सात मूल दिव्य संस्कार—सुख, शांति, प्रेम, आनंद, ज्ञान, शक्ति और पवित्रता—हर आत्मा में निहित होते हैं, आवश्यकता सिर्फ उन्हें स्मृति और अभ्यास से जागृत करने की है। उन्होंने कहा कि आधुनिक युग में भारतीय देव संस्कृति के मूल्यों का पतन हो रहा है, और ऐसे समय में ईश्वरीय ज्ञान के प्रकाश द्वारा श्रेष्ठ संस्कारों का पुनर्जागरण आवश्यक है।
दूसरे सत्र में अंबिकापुर यातायात उप निरीक्षक अभय तिवारी ने बच्चों को सड़क सुरक्षा और यातायात नियमों की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि ये नियम हमारे जीवन की सुरक्षा के लिए बनाए गए हैं और इनका पालन करना हर नागरिक का कर्तव्य है। उन्होंने प्रोजेक्टर के माध्यम से विभिन्न यातायात संकेतों का परिचय दिया और एक रोचक संवाद सत्र में बच्चों के प्रश्नों का उत्तर भी दिया। इसके अलावा, एक शैक्षणिक वीडियो भी दिखाया गया जिससे बच्चों में सड़क सुरक्षा को लेकर जागरूकता बढ़ी।
दिन के अंत में कलर कंसंट्रेशन गेम आयोजित किया गया, जिसमें बच्चों ने एकाग्रता का परिचय देते हुए उत्साहपूर्वक भाग लिया। विजेताओं को पुरस्कार के लिए चयनित किया गया।