
सिसई थाना क्षेत्र के जैरा गाँव में ऐतिहासिक सामाजिक व सांस्कृतिक पांच पड़हा जैरा जतरा का आयोजन
सिसई थाना क्षेत्र के जैरा गाँव में ऐतिहासिक सामाजिक व सांस्कृतिक पांच पड़हा जैरा जतरा का आयोजन
सिसई :- प्रखण्ड के जैरा ग्राम में रविवार को हर वर्ष की भाँति इस वर्ष भी हर्सोंल्लास् के साथ पाहान पुजारों के द्वारा विधिवत पूजा अर्चना करते हुए ऐतिहासिक पांच पड़हा जतरा का आयोजन किया गया। जो जैरा जतरा के नाम से पूरे झारखण्ड में प्रसिद्ध है। प्राचीनकाळ से आदिवासी समाज के पूर्वजों द्वारा विधिवत तरीके से आयोजित होते आ रहा है।
गाँव के लोगों कहना है कि पूर्वज से पांच पड़हा का झंडा भण्डरा पझरी पहाड़ पर था। वहाँ ये जतरा आयोजित होता था।उसके बाद वहाँ से सिलम टोंगरी बुड़का में आया। और जतरा का आयोजन सिलम टोंगरी बुड़का में होने लगा।फिर अगहन नवमी को झंडा आपरूपी जैरा में आ गया।
तब से आदिवासी पूर्वजों द्वारा जैरा में ये ऐतिहासिक जतरा का आयोजन होने लगा जो निरंतर प्रत्येक वर्ष अगहन नवमी को पाँच पड़हा के पाहान पुजारों के द्वारा विधिवत पूजा अर्चना करते हुए किया जा रहा है।
इस जतरा को देखने के लिए गुमला जिला के अलावे रांची, खूंटी, और लोहरदगा जिले से हज़ारों की संख्या में लोगों का जनसैलाब उमड़ पड़ा । जतरा में लोगों व बच्चों के मनोरंजन के लिए तरह तरह के झूले और मिठाइयों की दुकानों के अलावा लोगों की जरूरत के वस्तुओं की दुकाने भी लगाई गई थी।
जतरा को सफल बनाने में विधायक प्रतिनिधि प्रकाश उराँव, दिलाशा पाहान, बासुदेव प्रधान, सोहराई उराँव, प्रकाश लोहरा, सोमा टाना भगत, सुकरा उराँव, सत्येंद्र उराँव चंदर उराँव, संजय मुंडा, करमचंद उराँव एवं समिति के सभी लोगों का भरपूर सहयोग रहा। जतरा में शांति व्यवस्था बनाये रखने और किसी भी प्रकार के उपद्रव से निपटने के लिए सिसई थाना के पुलिस प्रशासन मुस्तैदी से खड़ी रही।