
छत्तीसगढ़ में विकास की सुनामी: जंगल बढ़े, किसान सशक्त, युवा रोजगारमय!
छत्तीसगढ़ में विकास की नई उड़ान: वनों का विस्तार, किसानों को राहत, नक्सल प्रभावित युवाओं को अवसर
रायपुर | 08 मार्च 2025 | छत्तीसगढ़ विधानसभा में वन एवं जलवायु परिवर्तन, जल संसाधन, सहकारिता और कौशल विकास विभागों के लिए 5954 करोड़ 41 लाख रुपये की अनुदान मांगें सर्वसम्मति से पारित की गईं। इन बजट प्रावधानों से वन क्षेत्र का विस्तार, सिंचाई सुविधाओं का विकास, किसानों को ऋण सहायता, नक्सल प्रभावित युवाओं के लिए कौशल प्रशिक्षण और पर्यटन को बढ़ावा देने की योजनाएं अमल में लाई जाएंगी।
वन एवं जलवायु परिवर्तन: छत्तीसगढ़ बना देश में तीसरा सबसे बड़ा वन क्षेत्र वाला राज्य
वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री ने बताया कि सरकार की नीतियों और जनभागीदारी से प्रदेश का वन आवरण बढ़कर 44.253% हो गया है, जिससे छत्तीसगढ़ देश में तीसरे स्थान पर आ गया है। राज्य सरकार किसान वृक्ष मित्र योजना के तहत बड़े पैमाने पर वृक्षारोपण कर रही है, जिससे 683 वर्ग किलोमीटर वन आवरण में वृद्धि हुई है।
इसके अलावा, गुरुघासीदास तमोर पिंगला टाइगर रिजर्व को विकसित करने के लिए 27.46 करोड़ रुपये का बजट रखा गया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी अपने ‘मन की बात’ कार्यक्रम में इस टाइगर रिजर्व के गठन पर प्रसन्नता जाहिर की थी।
पर्यटन को बढ़ावा: धुड़मारास गांव बनेगा नया पर्यटन केंद्र
संयुक्त राष्ट्र विश्व पर्यटन संगठन द्वारा चयनित 20 गांवों में बस्तर का धुड़मारास गांव भी शामिल है। सरकार इसे पर्यटन केंद्र के रूप में विकसित करेगी, जिससे स्थानीय रोजगार के अवसर भी बढ़ेंगे।
जल संसाधन: सिंचाई क्षमता में 2 लाख हेक्टेयर की वृद्धि का लक्ष्य
जल संसाधन मंत्री ने बताया कि सरकार ने ‘वॉटर विजन-2047’ एजेंडा तय किया है, जिसमें निर्मित सिंचाई क्षमता और वास्तविक सिंचाई के अंतर को 2 लाख हेक्टेयर कम करने का लक्ष्य रखा गया है।
नदी जोड़ो अभियान के तहत इंद्रावती-महानदी, केवई-हसदेव और अहिरन-खारंग लिंक परियोजनाएं तैयार की जाएंगी।
1109 नई योजनाओं पर काम होगा, जिसके लिए 700 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है।
आदिवासी क्षेत्रों में सिंचाई सुविधाओं को बढ़ाने के लिए जगदलपुर में नया मुख्य अभियंता कार्यालय खोला जाएगा।
सहकारिता: किसानों को 5 लाख तक मुफ्त ऋण, 500 नई पैक्स समितियां
सहकारिता मंत्री ने बताया कि किसानों को 5 लाख रुपये तक का अल्पकालीन कृषि ऋण बिना ब्याज दिया जा रहा है। इसके तहत अब तक 15.21 लाख किसानों को 7709 करोड़ रुपये का ऋण उपलब्ध कराया गया है।
500 नई पैक्स समितियों का गठन होगा, जिससे ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी।
सहकारी समितियों के डिजिटलीकरण के लिए 63.61 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है।
96 करोड़ रुपये की लागत से 200 मीट्रिक टन क्षमता के गोदाम सह कार्यालय भवन बनाए जाएंगे।
अंतरराष्ट्रीय सहकारी वर्ष 2025 के तहत राज्यभर में जागरूकता कार्यक्रम, मेले और संगोष्ठियां आयोजित की जाएंगी।
कौशल विकास: नक्सल प्रभावित 3598 युवाओं के लिए विशेष प्रशिक्षण
सरकार ने नक्सल प्रभावित क्षेत्रों के 3598 युवाओं को कौशल प्रशिक्षण देने के लिए सर्वे पूरा कर लिया है। इस योजना का उद्देश्य युवाओं को रोजगार देकर मुख्यधारा में जोड़ना है।
बस्तर संभाग के सभी 7 जिलों में कौशल विकास केंद्र स्थापित होंगे।
नक्सल प्रभावित 14 जिलों में संचालित लाइवलीहुड कॉलेज के लिए 10 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है।
दुर्ग, गौरेला-पेंड्रा-मरवाही समेत 7 जिलों में नए लाइवलीहुड कॉलेज बनाए जाएंगे।
मुख्यमंत्री की नई योजना “नियद नेल्लानार” के तहत नक्सल प्रभावित गांवों में बुनियादी सुविधाओं और कल्याणकारी योजनाओं का विस्तार किया जाएगा।
सरकार के इन फैसलों से छत्तीसगढ़ में वन संरक्षण, जल संसाधन, कृषि, पर्यटन और रोजगार के नए द्वार खुलेंगे। खासकर, नक्सल प्रभावित इलाकों में युवाओं को मुख्यधारा से जोड़ने और किसानों को आर्थिक संबल देने की दिशा में ये योजनाएं मील का पत्थर साबित होंगी।