छत्तीसगढ़राज्य

प्रदेश में लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए सरकार स्वयं प्रतिबद्ध!


◆_मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने राज्य में स्वास्थ्य व्यवस्था से जुड़े अधिकारियों के साथ उच्चस्तरीय बैठक की, साथ ही राजधानी रांची के पुनर्विकास योजना और यातायात व्यवस्था को लेकर संबंधित अधिकारियों को कई महत्वपूर्ण निर्देश दिये. . *

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◆ मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को राज्य के सभी मेडिकल कॉलेजों एवं अस्पतालों तथा जिला अस्पतालों में हेल्थ सर्किट बनाने का निर्देश दिया.

◆ मुख्यमंत्री ने कहा- जिला अस्पतालों में विशेषज्ञ डॉक्टरों की सेवाओं और सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों के बेहतर प्रबंधन के लिए ठोस उपाय किये जाएं।

◆ मुख्यमंत्री ने कहा- अस्पतालों के बेहतर प्रबंधन के लिए पेशेवरों की सेवाएं लेने में स्वास्थ्य विभाग को आगे बढ़ना चाहिए

● प्रदेश में लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए सरकार स्वयं प्रतिबद्ध है

●रांची शहर को सुंदर और स्मार्ट बनाएंगे

झारखण्ड//मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने कहा कि राज्य के सभी मेडिकल कॉलेजों और अस्पतालों तथा जिला अस्पतालों का एक हेल्थ सर्किट बनाया जाए ताकि जरूरत के मुताबिक मरीजों को एक अस्पताल से दूसरे अस्पताल में स्थानांतरित किया जा सके. इससे किसी एक अस्पताल पर मरीजों का ज्यादा दबाव नहीं पड़ेगा। इसके लिए जरूरी है कि सभी अस्पतालों में बेहतर इलाज की सुविधाएं उपलब्ध हों. मुख्यमंत्री आज स्वास्थ्य, चिकित्सा शिक्षा एवं परिवार कल्याण विभाग के अधिकारियों के साथ उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक कर रहे थे. उन्होंने कहा कि सरकार राज्य में लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए प्रतिबद्ध है. मुख्यमंत्री ने राजधानी रांची के पुनर्विकास योजना और यातायात व्यवस्था को लेकर संबंधित अधिकारियों के साथ अहम बैठक भी की.

सभी अस्पताल चौबीसों घंटे क्रियाशील रहें

मुख्यमंत्री ने स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिया कि राज्य के सभी सरकारी अस्पतालों
24×7 सक्रिय रहना चाहिए. इस दिशा में अस्पतालों में डॉक्टर एवं पैरामेडिकल स्टाफ हमेशा मौजूद रहें ताकि मरीज जब भी आएं तो उनका इलाज सुनिश्चित हो सके। मुख्यमंत्री ने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों और जिला अस्पतालों को बेहतर और आधुनिक सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए पहल करने का भी निर्देश दिया.

सदर अस्पतालों को भी विशेषज्ञ चिकित्सकों की सेवा मिलनी चाहिए

मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को सभी जिला अस्पतालों में विशेषज्ञ चिकित्सकों की सेवाएँ उपलब्ध कराने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों में भी ऐसी ही व्यवस्था की जानी चाहिए और इस दिशा में कदम उठाया जाना चाहिए. उन्होंने कहा कि जिला अस्पतालों में विशेषज्ञ डॉक्टरों की मौजूदगी से मरीजों को अनावश्यक मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में रेफर करने से भी काफी राहत मिलेगी.

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अस्पताल प्रबंधन को अनुशासित होना चाहिए
मुख्यमंत्री ने कहा कि अस्पतालों में अव्यवस्था की शिकायतें अक्सर विभिन्न स्रोतों से मिलती रहती हैं. अस्पतालों में इलाज के लिए आने वाले मरीजों को कई परेशानियों का सामना करना पड़ता है. अस्पतालों में कुछ मरीजों को बेड नहीं मिल पाता है तो कुछ को टेस्ट कराने में दिक्कत आती है। ओपीडी में मरीजों की भीड़ लगी रहती है। अस्पताल में इस तरह की अव्यवस्था से बचने के लिए अस्पताल के प्रबंधन को मजबूत और बेहतर बनाया जाना चाहिए ताकि मरीजों को इलाज से संबंधित सभी जानकारी आसानी से मिल सके। अस्पतालों के बेहतर प्रबंधन के लिए पेशेवरों को नियुक्त करें।

किडनी रोगियों के पेरिटोनियल डायलिसिस को आगे बढ़ाएं

मुख्यमंत्री ने कहा कि किडनी रोगियों की संख्या लगातार बढ़ रही है. ऐसे में मरीजों को डायलिसिस के लिए अस्पतालों में काफी देर तक इंतजार करना पड़ता है। जिससे डॉक्टरों और पैरामेडिकल स्टाफ की व्यस्तता भी काफी बढ़ जाती है. ऐसे में स्वास्थ्य विभाग को किडनी रोगियों को पेरिटोनियल डायलिसिस के लिए सभी आवश्यक दवाएं और उपकरण उपलब्ध कराने की दिशा में आगे बढ़ना चाहिए ताकि वे घर पर ही डायलिसिस कर सकें।

कैंसर रोगियों पर डेटा तैयार करें

मुख्यमंत्री ने कहा कि आज कैंसर के मरीजों की संख्या बड़ी संख्या में बढ़ रही है. यह बीमारी तेजी से लोगों को अपनी चपेट में ले रही है। अधिकांश कैंसर मरीज इलाज के लिए राज्य के बाहर के बड़े अस्पतालों में जाते हैं। ऐसे में अपने राज्य में कैंसर मरीजों का पूरा डेटा तैयार करें, ताकि राज्य सरकार उनके बेहतर इलाज की दिशा में आगे बढ़ सके.

पांच नये मेडिकल कॉलेजों को पूर्णतः क्रियाशील बनायें, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों के बेहतर प्रबंधन की व्यवस्था करें

मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को राज्य में पांच नये मेडिकल कॉलेजों और अस्पतालों के निर्माण की प्रगति की जानकारी दी. उन्होंने कहा कि ये सभी अस्पताल जल्द से जल्द पूर्ण रूप से क्रियाशील हों ताकि मरीजों को रेम्स या अन्य बड़े अस्पतालों में रेफर करने की व्यवस्था नियंत्रित रहे. उन्होंने निर्देश दिया कि सुदूरवर्ती ग्रामीण क्षेत्रों में स्थापित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों को बेहतर ढंग से चलाने के लिए ठोस कदम उठायें, ताकि ग्रामीण मरीजों को सामान्य बीमारियों के इलाज के लिए यहां नहीं जाना पड़े.

मुख्यमंत्री ने रैमएस व्यवस्था में सुधार के लिए ये निर्देश दिये
रिम्स परिसर में निर्माणाधीन क्षेत्रीय नेत्र संस्थान हर हाल में अगले साल फरवरी तक चालू हो जाना चाहिए।

● सभी विभागों की ओपीडी एवं जांच सुविधाएं एक ही भवन में उपलब्ध कराई जाएं।

● अस्पताल में नए एवं उन्नत चिकित्सा परीक्षण उपकरण लगाए जाएं। पुराने सामान से छुटकारा पाएं.

● विशेषज्ञ डॉक्टरों की नियुक्ति की प्रक्रिया जल्द से जल्द पूरी की जाये.

● जिन मरीजों का रिम्स में सफलतापूर्वक इलाज किया गया है और उन्हें केवल उचित नर्सिंग और देखभाल की आवश्यकता है, उन्हें सदर अस्पताल में स्थानांतरित किया जाना चाहिए। इससे अस्पताल में मरीजों को बिस्तर और अन्य समस्याओं से काफी राहत मिलेगी.

Ashish Sinha

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