
अंतर्राज्यीय शराब तस्करी गिरोह का भंडाफोड़: दुबई-भूटान कनेक्शन, पंकज सिंह रायपुर से गिरफ्तार
अंतर्राज्यीय शराब तस्करी गिरोह का भंडाफोड़: दुबई-भूटान कनेक्शन, पंकज सिंह रायपुर से गिरफ्तार
बिलासपुर। छत्तीसगढ़ पुलिस ने एक बड़े अंतर्राज्यीय संगठित शराब तस्करी गिरोह का पर्दाफाश किया है। इस गिरोह का नेटवर्क देश के कई राज्यों के अलावा दुबई और भूटान तक फैला हुआ था। पुलिस ने मुख्य आरोपी पंकज सिंह को रायपुर से गिरफ्तार कर लिया है, जबकि अन्य आरोपियों की तलाश जारी है। इस कार्रवाई में आबकारी विभाग और पुलिस की संयुक्त टीम ने मिलकर अहम भूमिका निभाई।
10 फरवरी 2025 को आबकारी विभाग को मुखबिर से सूचना मिली थी कि एक काले रंग की क्रेटा कार में अवैध शराब का परिवहन किया जा रहा है। पुलिस ने तत्काल कार्रवाई करते हुए कार को रोका और चालक रवि शर्मा से पूछताछ की। तलाशी के दौरान कार से 10 पेटी Symposiums Black Dot Finest Grain Whiskey (कुल 480 बोतल) बरामद हुई। जब रवि शर्मा से शराब के दस्तावेज मांगे गए, तो वह कोई वैध दस्तावेज प्रस्तुत नहीं कर सका। पूछताछ में उसने खुलासा किया कि एक बड़े कंटेनर ट्रक में भी शराब भरी हुई है, जिसे बिलासपुर में कुछ जगहों पर खाली करने के निर्देश मिले थे।
रवि शर्मा की जानकारी के आधार पर छतौना क्षेत्र में एक कंटेनर ट्रक को रोका गया। जब ट्रक की तलाशी ली गई, तो उसमें 990 पेटी विदेशी शराब पाई गई। ट्रक चालक शिव कुमार सैनी से पूछताछ में पता चला कि परमिट में 1000 पेटियों का जिक्र था, लेकिन मौके पर केवल 990 पेटियां मिलीं। यह स्पष्ट संकेत था कि कुछ शराब पहले ही तस्करों के माध्यम से वितरित की जा चुकी थी। इस पर पुलिस ने आबकारी अधिनियम की संगत धाराओं में मामला दर्ज किया।
जांच के दौरान जब गिरफ्तार आरोपियों के बैंक खातों की जांच की गई, तो इसमें गोवा, दिल्ली, छत्तीसगढ़ और हरियाणा के कई लोगों का लेनदेन सामने आया। इसमें सबसे बड़ा नाम पंकज सिंह और जय प्रकाश बघेल का सामने आया। पंकज सिंह इस पूरे गिरोह का प्रमुख संचालक था, जो पुलिस की कार्रवाई के बाद से फरार चल रहा था।
जब इस पूरे मामले की गहराई से जांच की गई, तो सामने आया कि 1000 पेटी शराब का यह कंटेनर दुबई की एक कंपनी के ऑर्डर पर गोवा से भूटान भेजा जा रहा था। यह मामला सिर्फ देश के अंदर शराब तस्करी तक सीमित नहीं था, बल्कि इसके तार अंतर्राष्ट्रीय संगठित अपराध से जुड़े थे। पुलिस ने वरिष्ठ अधिकारियों के माध्यम से दुबई और भूटान स्थित कंपनियों से इस संबंध में पत्राचार कर जानकारी मांगी है।
फरार चल रहे पंकज सिंह की तलाश के लिए पुलिस ने लोकल और टेक्निकल इंटेलिजेंस की मदद ली। जांच के दौरान पता चला कि पंकज सिंह रायपुर के वीआईपी रोड स्थित एक कॉलोनी में छिपा हुआ है। पुलिस अधीक्षक रजनेश सिंह के मार्गदर्शन में तथा अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (शहर) के निर्देशन पर एक विशेष टीम का गठन किया गया। इस टीम ने रायपुर पहुंचकर घेराबंदी की और पंकज सिंह को गिरफ्तार कर लिया।
इस गिरोह की कार्यप्रणाली बेहद संगठित थी। इनके पास शराब परिवहन से जुड़े फर्जी दस्तावेज होते थे, जिससे वे कानूनी कार्रवाई से बचने की कोशिश करते थे। तस्करी के इस खेल में हरियाणा, दिल्ली, पंजाब, छत्तीसगढ़ और गोवा के कई प्रभावशाली लोग शामिल थे।
पुलिस जांच में यह भी सामने आया कि शराब तस्करी के लिए जिन वाहनों का इस्तेमाल किया जाता था, उनके नंबर प्लेट और दस्तावेज बार-बार बदले जाते थे, ताकि पुलिस की नजरों में न आएं।
जांच में सामने आया है कि यह शराब तस्करी का एक बड़ा उद्देश्य नगरीय निकाय चुनावों में इस्तेमाल करना था। आरोपी पंकज सिंह और उसके सहयोगियों ने भारी मात्रा में शराब मंगवाई थी, जिसे चुनावों के दौरान मतदाताओं को प्रभावित करने के लिए इस्तेमाल किया जाना था।
पुलिस इस मामले में अन्य आरोपियों की तलाश कर रही है। इसके अलावा, दुबई और भूटान स्थित कंपनियों से प्राप्त होने वाली जानकारी के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी। यह भी जांच की जा रही है कि इस गिरोह को स्थानीय स्तर पर किन-किन प्रभावशाली लोगों का समर्थन प्राप्त था।
इस कार्रवाई ने एक बड़े संगठित गिरोह का पर्दाफाश किया है, जो अंतर्राज्यीय ही नहीं, बल्कि अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर भी सक्रिय था। इस मामले में अभी कई और खुलासे होने की संभावना है। पुलिस लगातार जांच कर रही है, ताकि इस तस्करी के पूरे नेटवर्क का सफाया किया जा सके।












